दिल्ली में यहाँ अमीर घरों की औरतें लगाती हैं मर्दो की बोली, खुलेआम खरीदती हैं लडके


आज के कलयुग में कुछ भी हो सकता है. पहले कहा जाता था कि 7 बजे के बाद लड़कियों को घर से नहीं निकलना चाहिए, मगर अब आपको लड़कियों के साथ-साथ लड़कों को भी घर में बंद रखना होगा. जहां एक तरफ लड़के रात में लड़कियों का सौदा करते हैं वहीं अब अमीर घर के औरतें भी मर्दों का सौदा करने में पीछे नहीं हैं. जी हां, आपने बिल्कुल सही सुना, मर्दों का सौदा भी होता है वो भी भारत के सेंटर में. भारत की राजधानी दिल्ली में यहां अमीर घरों की औरतें लगाती हैं मर्दों की बोली, और इन जगहों पर आम लड़का जाने से पहले 50 बार सोचता भी है. इस दौर में जहां हर तरह एक महिला की आबरू के सौदागर फैले हुए हैं वहीं मर्दों की बोली लगाकर कुछ लोग उनसे भी पैसा कमाते हैं. चलिए बताते हैं आपको क्या है ये पूरा मामला. शाम में मर्दों का बाजार सजने लगता है दिल्ली के कुछ इलाके ऐसे भी हैं जहां रात में 10 बजे के बाद लड़कियों का नहीं बल्कि लड़कों का जाना मुश्किल होता है. इन इलाकों में जाने से आम लड़के डरते हैं क्योंकि यहां पर औरतों की नहीं बल्कि मर्दों की बोलियां लगती हैं और अमीर घरों की औरतें इन्हें पैसा देकर एक या दो रात के लिए ले जाती हैं. दिल्ली में ऐसी कई जगह हैं जहां शाम होने के बाद ही मर्दों का बाजार सजने लगता है. उन जगहों जहां-जहां इन मर्दों की मार्केट लगती है उन्हें जिगोलो मार्केट कहा जाता है. मर्दों की मुंहमांगी कीमत मर्दों की मुंहमांगी कीमत यहां अमीर घरों की औरतें मर्दों को खरीदने के लिए आती हैं और ‘जिगोलो मार्केट’ में मर्दों की मुंहमांगी कीमत भी दे जाती है. इन कारोबारों को रात के 10 बजे के बाद शुरू किया जाता है जो सुबह 4 बजे तक चलता रहता है. आपको बता दें कि वैसे तो ये कारोबार कानून से छुपाकर किया जाता है लेकिन दिल्ली के कई इलाकों में इसे खुलेआम भी किया जाता है. उन इलाकों में सरोजनी नगर, लाजपत नगर, पालिका मार्केट और कमला नगर मार्केट जैसी पब्लिक प्लेज और चहल-पहल वाली जगहें हैं जहां रात होते ही मर्दों का सौदा किया जाता है. मर्दों की पहचान कुछ अलग ढंग से की जाती है मर्दों की पहचान कुछ अलग ढंग से की जाती है कुछ घंटों के लिए जिगोलो की बुकिंग की कीमत 1800 से 3000 रुपए और पूरी रात के लिए 8000 रुपए तक में डील की जाती है. इस कारोबार को दिल्ली के कई युवा अपना प्रोफेशन बना चुके हैं तो कई अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए ऐसा करते हैं. आपको ये जानकर हैरानी होगी कि यहां डीलिंग का काम पूरी तरह से सिस्टमैटिक तरीके से होता है. जिस मर्द की बोली लगती है उस मर्द को अपनी कमाई का 20 प्रतिशत हिस्सा उस संस्था को देना होता है जो इन कामों को अंजाम सिस्टमैटिक तरीके से देते हैं. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार मर्दों की पहचान कुछ अलग ढंग से की जाती है. उनके गले में जिगोलो रुमाल और पट्टे बांध दिए जाते हैं और कौन सा लड़का कितने में बिरेगा वो इन जिगोलो रुमाल की लंबाई से पता चल जाता है.
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